पंजाब केसरी, 14 फरवरी 2011
वाशिंगटन, 14 फरवरी: चीन के उपराष्ट्रपति जी.जिनपिंग के पांच दिनों के अमेरिकी दौरे पर पहुंचने के बाद तिब्बती प्रदर्शनकारियों के एक समूह ने व्हाइट हाउस के बाहर शांतिपूर्ण धरणा दे कर तिब्बत को आजाद करने की मांग की। इन लोगों ने अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा से तिब्बत में चीन की ओर से किए जा रहे मानवाधिकार हनन के मुद्दे को दौरे पर आए चीन के नेता के समक्ष रखने की मांग की। जी के जल्द ही चीन का राष्ट्रपति बनने की संभावना है।
न्यूयार्क-न्यूजर्सी इलाके के एक तिब्बती नेता गोन्पो सेवांग ने कहा, ‘‘हम ओबामा से यह आग्रह करने की कोशिश कर रहे हैं कि वह तिब्बत के मामले पर जी से बात करें और उन्हें बताएं कि तिब्बत के लोग अब धार्मिक स्वतंत्रता चाहते हैं।’’उन्होंने कहा कि तिब्बती युवक चीन से आजादी चाहते हैं और इस मुद्दे पर आध्यात्मिक नेता दलाई लामा से अलग सोचते हैं, जो चीन के अंदर ही स्वायत्ता के पक्षधर हैं।
सेवांग ने कहा, ‘‘आजादी हमारा जन्मसिद्ध अधिकार है। तिब्बत कई शताब्दियों में कभी भी चीन का हिस्सा नहीं रहा।’’गौरतलब है कि तिब्बती नागरिक जी के दौरे में तिब्बत के प्रति चीन की नीतियों के खिलाफ कई प्रदर्शन करने की योजना बना रहे हैं।