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एक नवगठित भारतीय तिब्बत समर्थक समूह ‘भारत-तिब्बत संघ (बीटीएस)’ ने गुरुवार, ०७ अगस्त २०२१ को अपनी राष्ट्रीय कार्यकारिणी की वर्चुअल बैठक आयोजित की। बैठक का मुख्य एजेंडा स्वतंत्रता और न्याय के लिए तिब्बती आंदोलन को गति देना और पवित्र कैलाश-मानसरोवर को कम्युनिस्ट चीन के चंगुल से मुक्त कराना था। बैठक में संगठन के राष्ट्रीय पदाधिकारियों, राज्य कार्यकारी अधिकारियों और प्रांतीय सदस्यों की भागीदारी रही। बैठक में विशिष्ट अतिथि के रूप में कोर ग्रुप फॉर तिब्बतन कॉज-इंडिया के राष्ट्रीय सह-संयोजक श्री सुरेंद्र कुमार; भारतीय जनता पार्टी महिला मोर्चा की उपाध्यक्ष श्रीमती पूजा कपिल मिश्रा और भारत-तिब्बत समन्वय कार्यालय, दिल्ली के समन्वयक श्री जिग्मे त्सुल्ट्रिम उपस्थित थे।
भारत के सर्वोच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश और संगठन की राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीमती ज्ञान सुधा मिश्रा, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मेजर जनरल (सेवानिवृत्त) नीलेंद्र कुमार, पूर्व एयर वाइस मार्शल ओपी तिवारी, वृंदावन, उत्तर प्रदेश के रेव सुनील कौशल जी, आंध्र प्रदेश से श्री माधवन जी, गंगोत्री, उत्तराखंड के श्री रावल हरीश सेमवाल और अन्य बैठक में मौजूद रहे।
संगठन के राष्ट्रीय महासचिव श्री सौरभ सारस्वत ने पूरी बैठक का संचालन किया। इस बैठक में संगठन का नया नाम ‘भारत-तिब्बत संघ’ के रूप में प्रस्तावित किया गया, जिसे सभी सदस्यों ने सर्वसम्मति से स्वीकार कर लिया। श्रीमती ज्ञान सुधा मिश्रा ने बैठक को संबोधित करते हुए कहा, ‘चीन से तिब्बत की मुक्ति के लिए कई संगठन काम कर रहे हैं। तिब्बत की आजादी, भारत की सुरक्षा और कैलाश-मानसरोवर की कम्युनिस्ट चीन के अवैध कब्जे से मुक्ति सभी का अंतिम लक्ष्य है। हमें तिब्बत के लिए काम करने वाले हर संगठन के साथ तालमेल बिठाकर लक्ष्य हासिल करना चाहिए।’
सदस्यों ने देशवासियों से आम तौर पर चीनी उत्पादों का बहिष्कार करने और विशेष रूप से वर्तमान त्योहारी मौसम के दौरान इनके बहिष्कार के साथ ही भारतीय निर्मित स्वदेशी उत्पादों और वस्तुओं को खरीदने की अपील की। उन्होंने ‘वोकल फॉर लोकल’ नारे का उपयोग करते हुए स्वदेशी और स्थानीय उत्पादों के लिए घर-घर प्रचार-प्रसार करने पर भी चर्चा की। इस प्रकार, आने वाले दिनों में लोगों को चीनी उत्पादों को न खरीदने के लिए समझाया जाएगा और ‘अपनी दिवाली, अपने लोगो के लिए दिवाली’ के अवसर पर स्थानीय उत्पादों को विभिन्न अभियानों और सोशल मीडिया के माध्यम से बढ़ावा दिया जाएगा।